महाराष्ट्र में इलेक्ट्रिक वाहन (ई-वाहन) चलाने वालों के लिए एक बड़ी खुशखबरी आई है। बुधवार (10 दिसंबर) को विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर ने सदन में एक महत्वपूर्ण निर्देश जारी करते हुए कहा कि प्रदेश के सभी ई-वाहनों को दी गई टोल माफ़ी आठ दिनों के भीतर लागू की जाए।
सिर्फ़ टोल माफ़ी लागू करने तक ही बात नहीं रुकी, अध्यक्ष ने यह भी निर्देश दिया कि टोल माफ़ी लागू होने के बाद भी जिन वाहन मालिकों से टोल राशि वसूली गई है, उसे वापस करने की कार्रवाई की जाए।
विधानसभा अध्यक्ष ने दिया स्पष्ट निर्देश
अध्यक्ष नार्वेकर ने यह निर्देश प्रश्नोत्तर काल के दौरान विधायक शंकर जगताप द्वारा उठाए गए एक मुद्दे पर चर्चा करते हुए दिए। विधायक जगताप ने ई-वाहनों पर टोल वसूली जारी रहने का मुद्दा सदन में उठाया था।
इस पर प्रतिक्रिया देते हुए अध्यक्ष नार्वेकर ने कहा कि जब सरकार ने ई-वाहनों के लिए टोल माफी की औपचारिक घोषणा कर दी है, तो अब इससे पीछे हटने का कोई सवाल ही नहीं है।
अध्यक्ष ने सदन में स्पष्ट रूप से कहा:
"सरकार ने जब ई-वाहनों के लिए टोल माफी की घोषणा की है, तो अब इससे पीछे नहीं हट सकती। इसलिए राज्यभर के सभी टोल नाकों को आठ दिनों के अंदर टोल न लेने के स्पष्ट निर्देश जारी किए जाने चाहिए।"
दरअसल, महाराष्ट्र सरकार ने एक नीति बनाई है जिसके तहत इलेक्ट्रिक वाहनों पर टोल नहीं लगेगा, लेकिन टोल बूथ पर लगातार टोल वसूली की शिकायतें आ रही थीं, जिसके बाद विधानसभा अध्यक्ष को यह कड़ा रुख अपनाना पड़ा।
चार्जिंग स्टेशनों की संख्या बढ़ाना जरूरी
टोल माफी के साथ ही, विधानसभा अध्यक्ष ने राज्य में ई-वाहनों के बुनियादी ढांचे पर भी ध्यान केंद्रित किया। उन्होंने कहा कि राज्य में ई-वाहनों की संख्या लगातार बढ़ रही है, ऐसे में ई-वाहन चालकों को सुविधा देने के लिए चार्जिंग स्टेशनों को बढ़ाना और मौजूदा स्टेशनों की क्षमता को उन्नत करना बहुत जरूरी है।
अध्यक्ष ने संबंधित विभागों को स्पष्ट और तय समय सीमा में कार्रवाई के निर्देश दिए, ताकि इलेक्ट्रिक वाहनों के बढ़ते उपयोग को देखते हुए राज्य भर में चार्जिंग स्टेशनों की संख्या में वृद्धि की जा सके और मौजूदा स्टेशनों की क्षमता भी बढ़ाई जा सके।
टोल माफ़ी लागू करने में देरी स्वीकार
इससे पहले, विषय पर जवाब देते हुए प्रभारी मंत्री दादा भुसे ने सदन में यह स्वीकार किया कि टोल माफी लागू करने में तकनीकी कारणों से लगभग तीन महीने की देरी हुई है। उन्होंने सदन को भरोसा दिलाया कि टोल प्रणाली में आवश्यक सुधार जल्द ही किए जाएंगे।
विधानसभा में हुई इस चर्चा और अध्यक्ष के कड़े निर्देशों के बाद अब उम्मीद की जा रही है कि राज्य में ई-वाहन उपयोगकर्ताओं को जल्द ही टोल माफी का सीधा लाभ मिलना शुरू हो जाएगा और उन्हें अपनी वसूली गई राशि भी वापस मिल सकेगी। यह निर्देश महाराष्ट्र सरकार के पर्यावरण-अनुकूल परिवहन को बढ़ावा देने के प्रयासों को गति देगा।